एलिज़ाबेथ
द्वितीय
को 25 साल की उम्र में महारानी बनाया
गया
था पर रानी
होने
बावजूद राज घराने के कुछ नियम और कई
पाबंदियां
थी
अगर रानी
कहीं
खड़ी
होती है तो उनके पास मौजूद हर इंसान को खड़ा होना
जरुरी
होता
था ये शाही
घराने
के नियम था
अगर आप महारानी
एलिज़ाबेथ द्वितीय
के साथ टेबल पर खाना खा रहे हैं तो उनके
खाने
से पहले आप
खाना
नहीं खा सकते हैं
महारानी
एलिज़ाबेथ
द्वितीय को ऑटोग्राफ देने की बिल्कुल मनाही थी
ताकि
कोई उनके फर्जी
हस्ताक्षर
करके उन्हें नुकसान न पंहुचा सके
एलिज़ाबेथ
द्वितीय
अपने घर में जैसे मर्जी रह सकती थी पर उनको
मीडिया
के
कैमरों
के सामने अपने पति के साथ चलने की
इजाजत
नहीं थी
एलिज़ाबेथ द्वितीय के
मेहमानों
की गिनती
13 से कम
होती थी यह फिर ज्यादा क्यूंकि इसे नंबर को
अशुभ
माना
जाता था
एलिज़ाबेथ
द्वितीय अपनी
राजनीतिक
राय नहीं रख सकती थी और न ही वो किसी भी
राजनीतिक
पार्टी को सहयोग दे सकती थी न ही
खिलाफ
बोल सकती थी
महारानी एलिज़ाबेथ द्वितीय
कभी
भी वोट नहीं देने
जाती
थी उन्हें विवादों से दूर
रहने
के लिए कहा
जाता
था
महारानी
एलिज़ाबेथ
द्वितीय हमेशा दस्ताने पहन कर रखती थी ताकि किसी से
हाथ
मिलाते वक़्त
कीटाणु
की वजह से उनकी
तबियत
ख़राब न हो जाये
महारानी
एलिज़ाबेथ
द्वितीय अपने कर्मचारियों को संकेत देने के लिए
अपने
हाथ में रखे
हैण्ड बैग
का इस्तेमाल करती है